और फिर खत्म हो गया लोकप्रिय नेता के जीवन का सफर, इस तरह किया गया अन्तिम संस्कार

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राजकीय सम्मान के साथ उनका अन्तिम संस्कार किया गया
कानपुर देहात-यूपी सरकार की प्राविधिक शिक्षा की कैबिनेट मंत्री कमलरानी वरुण के निधन के बाद भाजपा पार्टी में शोक की लहर दौड़ गई। कोरोना की चपेट में आने के बाद लखनऊ के पीजीआई में इलाज के दौरान उन्होंने आज सुबह अंतिम सांस ली। उनके अंतिम संस्कार के लिए उनकी शव यात्रा भैरवघाट पहुंची। जिसके चलते कानपुर के पुलिस प्रशासनिक अफसरों को जानकारी दी गई। उनके पार्थिव शव को पहले उनके आवास बर्रा कानपुर लेे जाया गया। एंबुलेंस के अंदर से ही परिजनों सहित लोगों को अंतिम दर्शन कराए गए। जिसके बाद उन्हें अन्तिम विदाई देते हुए शव यात्रा भैरवघाट शवदाह गृह पहुंची। जहां राजकीय सम्मान के साथ उनका अन्तिम संस्कार किया गया। कानपुर के बीजेपी के सुरेन्द्र मैथानी, जिलाध्यक्ष, अरुण पाठक, जय कुमार जैकी व देवेन्द्र सिंह भोले सहित अन्य नेताओं व कार्यकर्ताओं ने उन्हें अन्तिम नमन किया।
कानपुर निवासी कमलरानी वरुण का राजनीतिक सफर भी कानपुर से शुरू हुआ था। जिसके बाद अपनी लगन व हौंसले के द्वारा उन्होंने क्षेत्रीय लोगों में अपनी पैठ बनाई थी। बीजेपी से टिकट मिलने के बाद उन्होंने घाटमपुर से चुनाव लड़ा और सांसद बनीं। दो बार यहां से सांसद रहने के बाद विगत 2017 विधानसभा चुनाव में यहां के लोगों ने उन्हें ताज पहनाकर विधानसभा भेजा रहा। पार्टी के लिए उनकी निष्ठा और अहम भागीदारी के चलते यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्हें मंत्रिमंडल में प्राविधिक शिक्षा की कैबिनेट मंत्री की जिम्मेदारी सौंप दी। राजनीतिक सफर में लगातार मुकाम हासिल करते हुए वो क्षेत्रीय लोगों में लोकप्रिय थीं। वहीं विगत दिनों कोरोना की चपेट में आने पर आज सुबह उन्होंने लखनऊ पीजीआई में अन्तिम सांस ली तो क्षेत्र के लोगों में मातम छा गया। जिसके बाद भैरवघाट कानपुर में उनका अंतिम संस्कार किया गया।
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